मध्य प्रदेश के किसानों के लिए खुशखबरी

मध्य प्रदेश के किसानों के लिए एक बड़ी राहत की खबर है। ग्वालियर के डबरा ब्लॉक में पदस्थ कृषि विस्तार अधिकारी विशाल यादव ने एक वेब-आधारित ऐप तैयार किया है, जिससे अब हर किसान को उसकी वास्तविक जरूरत के अनुसार खाद मिल सकेगी और कालाबाजारी पर भी रोक लगेगी।
किसानों की राहत का नया कदम
प्रदेश के कई जिलों में किसान खाद लेने के लिए घंटों लंबी लाइनों में इंतजार करते थे। कई बार कुछ किसान बार-बार लाइन में लगकर खाद प्राप्त कर लेते थे, जिससे अन्य जरूरतमंद किसान वंचित रह जाते थे।
इस समस्या को देखते हुए, विशाल यादव ने फर्टिलाइज़र डिस्ट्रीब्यूशन डेटाबेस नामक वेब ऐप बनाया, जो पारदर्शी और सटीक वितरण सुनिश्चित करता है।
वेब ऐप कैसे काम करता है
विशाल यादव के अनुसार, ऐप:
- कंप्यूटर और लैपटॉप दोनों पर काम करता है
- किसान की पहचान समग्र आईडी और आधार कार्ड के माध्यम से की जाती है
- किसान के खेत का रकबा ऐप में दर्ज किया जाता है
इसके आधार पर तय होता है कि किसान को कितने बैग डीएपी और यूरिया मिलेंगे।
उदाहरण के लिए:
- दो बीघा जमीन वाले किसान को एक बैग डीएपी
- एक बीघा जमीन वाले किसान को एक बैग यूरिया
पात्रता और वितरण प्रक्रिया
- किसान खाद वितरण केंद्र पर अपनी कृषि किताब लेकर पहुंचता है
- उसके खेत का रकबा सिस्टम में मैन्युअली एंट्री कर अपलोड किया जाता है
- ऐप खाद की मात्रा तय करता है और किसान जितनी खाद प्राप्त करता है, उसकी पात्रता घटा देता है
- एक बार जब किसान का कोटा पूरा हो जाता है, तो वह आगे कोई अतिरिक्त खाद नहीं प्राप्त कर सकता
इस तरह सभी किसानों के बीच समान और पारदर्शी वितरण सुनिश्चित होता है।
कृषि अधिकारी कैसे बने वेब डेवलपर
विशाल यादव मूल रूप से कृषि में बीएससी स्नातक हैं। पढ़ाई और ट्रेनिंग के दौरान उन्होंने JAVA प्रोग्रामिंग सीखी और उसी ज्ञान का उपयोग किसानों की खाद समस्या हल करने के लिए किया।
विशाल यादव ने कहा:
“हमने देखा कि कई किसान खाद नहीं ले पाते और कुछ बार-बार लाइन में लगकर ले लेते हैं। यही सोच हमें यह वेब ऐप बनाने के लिए प्रेरित करती है।”
ग्वालियर में सफल परीक्षण, पूरे प्रदेश में विस्तार
यह ऐप फिलहाल ग्वालियर के डबरा और भितरवार ब्लॉक में लागू किया गया है।
विशाल यादव का कहना है:
“इस सिस्टम से न केवल खाद वितरण में पारदर्शिता आएगी, बल्कि किसानों को उनकी जरूरत के अनुसार पर्याप्त खाद मिलेगी। साथ ही कालाबाजारी और अनियमित वितरण पर भी नियंत्रण होगा।”
यदि ऐप सफल रहता है, तो इसे पूरे मध्य प्रदेश में लागू करने की योजना है।
कृषि विभाग का नया प्रयोग और भविष्य
यह पहल दिखाती है कि सरकारी अधिकारी भी तकनीकी नवाचार के माध्यम से किसानों की समस्याओं को हल कर सकते हैं।
विशेषज्ञों का मानना है कि इस तरह की तकनीकी पहल से:
- खेती में दक्षता बढ़ेगी
- पारदर्शिता सुनिश्चित होगी
- किसानों के लिए विकास के नए अवसर खुलेंगे
भविष्य में ऐसे डिजिटल समाधान और अधिक किसानों के लिए लाभकारी साबित होंगे।

News World India is India’s Fastest Growing News channel known for its quality programs, authentic news, and reliable breaking news. News World India brings you 24/7 Live Streaming, Headlines, Bulletins, Talk Shows, Infotainment, and much more.
Watch minute-by-minute updates of current affairs and happenings from India and all around the world!