भारत में 30 लाख लोगों की जान है खतरे में
सिक्किम में आए जनसैलाब में अब तक 56 लोगों की मौत की पुष्टि हो चुकी है,वहीं कई लोग अभी भी लापता है जिनका रेस्क्यू किया जा रहा है. लेकिन क्या आप जानते है की सिक्कम की तरह भारत में 30 लाख से ज्यादा लोग ऐसे है जिन पर हल पल मौत का खतरा मंडरा है. चाहे वो सिक्कम हो या फिर उत्तराखंड में 10 साल पहले आई हुई त्रासदी 30 लाख ऐसे जो इससे जो इससे भी बड़ी त्रासदी का शिकार हो सकते है. ये वो लोग है जो ग्लेसियर के तलहटी यानी ग्लेसियर के बेसिन में रह रहे है. वहीं बात करें पूरी दुनिया की तो 30 देशों में कुल 1089 ऐसे ग्लेसियर बेसिन है जहां लोग रह रहें है. आकड़ो की बात करें तो करीब 9 करोड़ ऐसे लोग है जो यहां रह रहे है. और इनमें से 1.50 ऐसे लोग है जो इस ग्लेसियर बेसिन के 50 किलोमीटर के अंदर रहते है. साफ तौर पर कहा जाए तो ग्लेसियर बेसिन के जीतने नज़दीक आबादी होगी उतना ही ज्यादा उन पर खतरा होगा. नेचुरल कम्यूनिकेशन के रिपोर्ट के मुताबिक की अगर भविष्य में 1089 ये ग्लेसियर प्रभावित होते है यानी टूटते है तो जरुरी नहीं की 9 करोड़ लोग एक साथ मौत के आगोश में समा जाए लेकिन कम से कम 1 करोड़ लोगों तो पक्का ये प्रभावित करेगा या फिर ये लोग खत्म भी हो सकते है. पूरे विश्व की बात की जाए तो सभी देशों में से कुल 4 ऐसे देश है जिनमें ग्लेसियर सबसे ज्यादा है. ये जो 4 देश है वो है पाकिस्तान,पेरु,चीन और भारत.आमतौर पर देखा गया है की हाई माउंटेन एशिया में पाए जाते है. चलिए अब बात कर लेते है इन 4 देशों की. पाकिस्तान की बात करें तो खैबर-पख्तूनख्वा बेसिन,पेरु की सैंटा और बोलिविया बेसिन बेहद ही खतरनाक बेसिन है जो किसी भी वक्त टूट सकता है. वहीं अगर भारत की बात की जाए तो भारत का हिमालयन बेसिन के ऊंचे पहाड़ो में ग्लेसियर झील तेजी से बढ़ रहा है. जिसका आकड़ा 37 से 93 फीसदी तक हो चुका है. यानी साफ शब्दों में कहा जाए तो हिमालय के ग्लेसियर तेजी के साथ पिघल रहे है. जिसका सीधा असर नदियों पर पड़ेगा. क्योंकि भारत की कई प्रमुख नदियां हिमालय से हो कर आती है.
तेजी से पिघल रहा है ग्लेसियर
भारत की बात की जाए तो कुल ऐसे 4 राज्य है जिनमें 34 ग्लेसियर मौजूद है. इनमें 14 ऐसे ग्लेसियर है तो बहुत ही बड़े है. इन 4 राज्यों की बात की जाए तो वो है लद्दाख, उत्तराखंड,हिमाचल प्रदेश, अरुणाचल प्रदेश. लद्दाख में कुल 15 ग्लेसियर है. लद्दाख के कई ऐसे ग्लेसियर है जो तेजी से पिघल रहे है. बात की जाए अरुणाचल प्रदेश की यहां सिर्फ एक ही ग्लेसियर है जिसका नाम खांगड़ी है. ये ग्लेसियर तेजी से पिघल रहा है जो की काफी खतरनाक साबित हो सकता है. हिमाचल में कुल 12 ग्लेसियर है. सबसे तेज जो हिमाचल प्रदेश में घटने वाला ग्लेसियर है उसका नाम गेपांग गाठ है. उत्तराखंड में कुल 6 ग्लेसियर है. बात की जाए उत्तराखंड में ग्लेसियर के पिघले की तो इसका दर 4 राज्यों में सबसे ज्यादा है. जिसके कारण उत्तराखंड में खतरा भी सबसे ज्यादा बना हुआ है.
न्यूज़ वर्ल्ड इंडिया में 2022 से कार्यरत. इस चैनल को PRODUCER के तौर पर ज्वाइंन किया .फिलहाल ANCHOR CUM PRODUCER पर कार्यरत है. देश-विदेश, राजनीतिक,क्षेत्रिय हर खबरों में रुची. राजनीतिक मुद्दों के साथ-साथ रिसर्च बेस्ड प्रोग्राम में अच्छी पकड़.
संगीत सुनना,उपन्यास पढ़ने का शौक. हिंदी,अंग्रेजी के साथ-साथ भोजपूरी भाषा की भी अच्छी समझ.